कभी तो तलाश ये पूरी होगी



दिन वो दूर नही जब हम साथ होगे
तेरी चाह में भटक रहे हैं हम
कभी तो हमारे रास्ते एक होगे
कभी तो तलाश ये पूरी होगी |


दिल में तमनाओँ का दौर चल रहा है
कभी पूरा तो कभी अधूरा सा दिख रहा है 
कभी तो हमारे ख्वाब पूरे  होंगे
कभी तो तलाश ये पूरी होगी |


एक रौशनी की किरण दिखाई देती है 
जाने क्यों पास वो कभी आ नही पाती है 
कभी तो हमारे दिल लौ से गुलजार होंगे
कभी तो तलाश ये पूरी होगी |

 
प्यासे मुख में बस तीस ही बची है
दो बुँदे पानी की बरसती भी नही
कभी तो आँगन हमारे गीले होंगे
कभी तो तलाश ये पूरी होगी |  

आधी-अधूरी आरज़ू

मैं दिखती हूँ, तू देखता है, तेरी प्यास ही मेरे श्रृंगार की राह बनती है। मैं संवरती हूँ, तू तड़पता है, तेरी तृष्णा ही मेरी पहचान गढ़ती है। मै...