मेरी दुनिया पहाड़ों के बीच

पहाड़ों की चोटियों पर सुकून का आभास,
वहाँ की शांति में मिलता है आत्मा का संग।
ऊँचाइयों से झूमती धाराएं, खुली आसमान,
मेरी दुनिया पहाड़ों के बीच, वहाँ है मेरा आधार।

प्रकृति की सुंदरता, शीतल हवाओं की ध्वनि,
जीवन के उतार-चढ़ाव में भी मिलती है मनोरंजनी।
धरती की गोद में, प्रेम की भावना,
मेरी दुनिया पहाड़ों के बीच, वहाँ है मेरा जीवन स्वरूप।

हर कदम पर नई कहानियों का आगाज़,
पहाड़ों के बीच बसी मेरी दुनिया की मिठास।
सफर की राह में, चुनौतियों का सामना,
मेरी दुनिया पहाड़ों के बीच, वहाँ है मेरा सपनों का विश्वास।

पहाड़ों की गोद में छिपी अनगिनत कहानियाँ,
मेरी दुनिया पहाड़ों के बीच, वहाँ है मेरा संगीत और स्वप्न।
जीवन के सारे रंग, पहाड़ों के संग,
यहाँ है मेरी दुनिया, यहाँ है मेरा आदर्श जीवन।

घर की चादर सुहानी,

घर की चादर सुहानी, रात की ठंडी हवा,
अंधेरे की चादनी, सपनों का सवेरा।
जहाँ बाहर की धूप में, जलती हैं तपिश,
वहाँ घर की छाँव में, मिलती हैं राहतें निश्छित।

बाहर की भीड़-भाड़, अपने ही घर में है शांति,
पर बाहर के सफर में, मिलता है संवाद।
घर की गलियों में, बसी हैं यादें अनमोल,
और बाहर की खोज में, हैं सपनों के खेल में जोशिल।

घर की मीठी बातें, अपने ही दिल को भाती,
बाहर की दुनिया में, हैं नये सपने साथी।
जहाँ बाहर की रौशनी में, हैं अलग मिज़ाज,
वहाँ घर की अंधेरी छाँव में, हैं खुशियों के साज।

घर से बाहर, और बाहर से घर,
दोनों में हैं अपनापन के नजर।
कहानी बातें यहाँ, बातें वहाँ,
जीवन का हर सफर, है एक अद्भुत कहानी का पार।

अपनी क्षमता को व्यर्थ न जाने दो

क्यों रुकूं मैं, जब राहें बुला रही हैं, क्यों थमूं मैं, जब हवाएं गा रही हैं। यह डर, यह संशय, यह झूठा बहाना, इनसे नहीं बनता किसी का जमाना। आध...