चल पड़े हैं नहीं राहों में, अंधेरी राहों में,

चल पड़े हैं नहीं राहों में, अंधेरी राहों में,
रात के मुसाफिर हम, रात भर जाते हैं।

सोते हैं ना, जाते हैं, हर पल उधम मचाते हैं,
हो क्या गया है हमने, कुछ भी कहो, नया जिंदगी है नहीं।

रहा है नहीं, चाहा है सब कुछ, नया है,
बस कहीं एक पुराना हूं, जिसे नया करना है।

लेकिन इतना भी नया नहीं, जिस मैं हूं, मेरी जड़ना खत्म हो जाए,
बस इसी तरह चल रहा है, यह सर्दी शुरू हो गई है।

नया सफर है नहीं, बस दर्द राहों में हम कट रहे हैं,
इन सब पर, यह कविता है, हमारी रूह की आवाज़।

चल पड़े हैं, अंधेरी राहों में,

चल पड़े हैं, अंधेरी राहों में,
रात के मुसाफिर, हम, न जाते हैं।

हर पल उधम मचाते हैं, हो क्या गया है हमने,
नया जिंदगी है, नहीं रहा है, नया संवेदन।

चाहा है सब कुछ नया, बस एक पुराना हूं मैं,
जिसे खुद को नया करना है, लेकिन इतना भी नया नहीं।

यह सर्दी शुरू हो गई है, दर्द राहों में हम कट रहे हैं,
नई सफर है, बस दर्द राहों में, इस अंधेरे में हम पल-पल कट रहे हैं।

बस, यही है जिंदगी की सच्चाई, इस अंधेरे के बावजूद,
हम आगे बढ़ते हैं, हर दर्द के साथ, हर मुश्किल के साथ, नई राहों में।

चल पड़े हैं, नहीं राहों में, अंधेरी रातों में,

चल पड़े हैं, नहीं राहों में, अंधेरी रातों में,
रात के मुसाफिर हम, जाते हैं, सोते हैं, ना जाते हैं।

हर पल उधम मचाते हैं, चाहे कुछ भी हो,
नई जिंदगी की राह में, चलते हैं, दर्दों को साथ लेकर हो।

कुछ गया है, लेकिन कुछ भी नया नहीं,
चाहा है सब कुछ, लेकिन कुछ भी नया नहीं।

पुराने हूं, लेकिन नया करना चाहता हूं,
अपनी जड़ों को नए पर्वतों पर ले जाना चाहता हूं।

सर्दी शुरू हो गई है, दर्द राहों में हम कट रहे हैं,
नए सफर की धारा में, अपनी मंजिल की खोज में हैं हम।

अंधेरी रातों में, चलते हैं, हाथों में दीपक लेकर,
नई उम्मीदों की आस, साथ लेकर, दर्दों को झेलते हैं हम।

चल पड़े हैं, नयी राहों में,

चल पड़े हैं, नयी राहों में, अंधेरी राहों में,
रात के मुसाफिर हम, जाते हैं सोते हैं ना जाते हैं।

हर पल उधम मचाते हैं, हो क्या गया है हमने,
लेकिन कुछ भी कहो, नया जिंदगी है नहीं रहा है।

नई सर्दी की ठंड, नया सफर, नहीं रहा है बस,
दर्द राहों में हम, कट रहे हैं, इन सब में बस।

जड़ना खत्म हो जाए, बस इसी तरह, चल रहा है,
नया और पुराना, एक साथ, इस जीवन का संगम बन रहा है।

ये बहुत ही बढ़िया है, ये संगम इस जीवन का,
अंधेरे में भी उजाला, हर रात, हर पल, हर वक्त का।

हमारी अद्वितीय कहानी की धार।

प्यार की कहानी, दीपक और दीप्ति की,
हमें नहीं पता, पर हमें हो गया ये रिश्ता साथी।

रात भर बातें, हाँसी, गुफ्तगू और खुशियों की बौछार,
हम दोनों के बीच, है साथ एक-दूजे का प्यार।

हॉस्टल की बालकनी में, उससे बात करते हैं हम,
जीवन की सबसे अद्भुत कहानी, लेकर उसके साथ कोमल गम।

सपने देखते हैं, भविष्य के साथी होने के,
धुंएं में रातें गुजारती, साथ बिताते हुए साथी के।

उसकी बातों में जादू, हर पल, हर क्षण,
दिन रात बातें करते हैं, हर दिन एक नया आनंद भर जाता है हमारे मन।

दीपक दीप्ति की कहानी, खुशियों का सफर,
प्यार की गाथा, हमेशा बनी रहे, यही है हमारी अद्वितीय कहानी की धार।

हॉस्टल की बालकनी में,

प्यार का आलम, बड़ा अनोखा है,
रात भर बातें, दिल की बातें, अनमोल राज़ है।

हॉस्टल की बालकनी में, हर रात,
बैठे-बैठे, उसके साथ, ख्वाबों की बातें साथ हैं।

कमल की बातें, सवालों की बरसात है,
जवाबों में, भविष्य की राहत है।

सपनों की दुनिया, भविष्य की बस्ती,
साथ रहेंगे हम, हर कठिनाई का मिलेगा बिस्तर।

धुएं में रात गुजर जाती है,
सुबह को, फिर से उसके साथ बातें करते हैं।

जादूगर हैं उसके सवाल, जादूगर हैं उसकी बातें,
जिंदगी की दुनिया, इस प्यार की कहानी के राज़ हैं।

प्यार की ये कहानी 2

प्यार की ये कहानी, दीपक और दीप्ति की,
रात भर बातें, हसीन सपने, मीठे सपने की।

हॉस्टल की बालकनी में, बैठे बैठे वो,
बातों में खोए, दिल की बातें वहाँ जो।

कमल की बात है, सवालों की खेल,
जवाबों की तलाश, नयी ध्वनि, नया मेल।

सपनों की दुनिया में, भविष्य की राह,
साथ चलते हैं, एक दूजे की बाह।

धुंएं में रातें गुजरती, सपनों की चादर में,
सुबह होती, फिर से बात, दिल के राज में।

जादू है उनकी बातों में, हर पल कुछ नया,
दीपक और दीप्ति की कहानी, प्यार भरा सफर यह अनगिनत दिन और रात।

प्यार की यह कहानी,

प्यार की यह कहानी, गुफा के अंधेरे में,
हम दोनों बातें करते, हर रात के साए में।

हॉस्टल की बालकनी, हमारी जगह जहां,
सपनों की दुनिया में, हम बनते रहे महान।

कमल की बातें, उसकी मुस्कान में छुपी,
सवालों का सिलसिला, हमारी बातों में डूबी।

साथ रहेंगे हम, भविष्य की राहों में,
साथ धुएं में, हमारी दिल की धधधकन में।

रातों की गुहार, सुबह की किरण में,
दीपक दीप्ति की कहानी, हमारे दिल की जुबानी में।

सफर में हूं, बस सफर में, निरंतर चलते जाते हुए,

डीप से डीप्ति का मिलन, फिल्मी सिनेमा का पहला संगम,
दिल लागे ना, उसे जगमगाता दीपक का ज्योति संगम।

जीवन की नई रोशनी में, उमंगों की बारिश है शुरू,
थोड़ी जलन, थोड़ी खुशी, दोस्ती का रंग नया चढ़ा है दिल में धीरू।

शायद कुछ हुआ है, जज़्बातों में, जीवन की लड़ाई में,
दोस्ती का साथ, और थोड़ा सा दिल का बचपन जीता है बिना हार के रहने में।

यमुनानगर से दिल्ली, एक नया सफर, एक नया अनुभव,
खोजता हूं मैं, कुछ नया, कुछ अद्वितीय, जीने की राह में।

सफर में हूं, बस सफर में, निरंतर चलते जाते हुए,
जीवन की बड़ी राहों में, अपनी बड़ी कहानी बुनते हुए।

सफर में हूं, निरंतर सफर में,

एक दीपक जलता है, दिल से दीप्ति का मिलन,
सिनेमा की दुनिया में, पहली बार की मिलन।

नई रोशनी की धुंध में, उमंग उठती है जी,
कुछ अनजाने सी बातों में, दिल खोजता है अब नई दिशा।

दोस्ती की मिठास, थोड़ी जलन सी,
दिल जुड़ रहा है, और कहीं दिल टूट भी रहा है।

अपने आप से लड़ाई, या दोस्तों से ये जंग,
सफर की राहों में, खोजता है अपने असली रंग।

यमुनानगर से दिल्ली, सफर में जो हूं,
कुछ अलग सी बातें, सबको है ये हूंकार सुन।

सफर की ये बातें, जो मेरे साथ हैं,
क्या हो रहा है, ये सबको बताना चाहता हूं।

इस सफर में हूं, निरंतर सफर में,
खोजता हूं, अपने सपनों की मंजिल में।

सफर की कहानी, बस निरंतर चलती जाती, 3

डिल लागे ना, एक अनजान सी कहानी,
दीप से दीप्ति का मिलन, जी डिप्टी के साथ रानी।

दीपक का जलना, नई रोशनी का संकेत,
उमंग की उड़ान, जीने का तरीका जो सही था यहाँ।

दोस्ती की रिश्तों में, जलन की थोड़ी सी चमक,
दिलों का मिलन, जुड़ने की राह जो सच्ची थी बात।

दिल में छूटे, कुछ अनदेखे गुमान,
यमुनानगर से दिल्ली, सफर जो भरा था ज़िन्दगानी का इमान।

सफर की कहानी, बस निरंतर चलती जाती,
मेरे साथ, कुछ अनसुने राज, जो सपनों की राह में छुपे हैं छिपते जाते।

सफर की कहानी, निरंतर चलती जाती,हर पल, हर क्षण, नए रंग लाती।

एक दीपक जलता है, अंधकार में खोजता,
दीप्ति की खोज में, जीवन का सफर चलता।

नई रोशनी में, उमंग की लहर उठती,
दिल में कुछ तो है, जो बस है बसती।

दोस्ती की राहों में, थोड़ी जलन सी है,
दिल जुड़ रहा है, और कहीं टूट भी रहा है।

अपने आप से लड़ाई, या दोस्तों से कुछ बातें,
यह क्या लड़ाई है, जिसमें खोया हर एक साथी।

यमुनानगर से दिल्ली, सफर में हैं तेरे,
कुछ तो बात है, जो अब तक है भरे।

सफर की कहानी, निरंतर चलती जाती,
हर पल, हर क्षण, नए रंग लाती।

सफर की कहानी, निरंतर चलती जाती,

एक दीपक जलता है, अंधकार में खोजता,
दीप्ति की खोज में, जीवन का सफर चलता।

नई रोशनी में, उमंग की लहर उठती,
दिल में कुछ तो है, जो बस है बसती।

दोस्ती की राहों में, थोड़ी जलन सी है,
दिल जुड़ रहा है, और कहीं टूट भी रहा है।

अपने आप से लड़ाई, या दोस्तों से कुछ बातें,
यह क्या लड़ाई है, जिसमें खोया हर एक साथी।

यमुनानगर से दिल्ली, सफर में हैं तेरे,
कुछ तो बात है, जो अब तक है भरे।

सफर की कहानी, निरंतर चलती जाती,
हर पल, हर क्षण, नए रंग लाती।

सफर का अंत नहीं, बस निरंतर सफर में हूं,

एक अजनबी शहर, एक अजनबी जगह,
जीवन की इस सफर में, ढूँढता रहा मैं अपनी राह।

दिल की गहराइयों से, जलता रहा एक दीपक,
दीप से दीप्ति का मिलन, दिल में जागा एक उमंग का लहर।

दोस्तों की मिलन से, हुआ एक अनोखा संबंध,
जितना दूर गया, उतना ही करीब लगा यह मित्रता का बंध।

दिल में उमड़ती हैं, थोड़ी सी जलन,
दोस्तों की शोहरत, और खुद की चाहत, जिसमें छिपी है कई चुनौतियाँ।

यमुनानगर से दिल्ली का सफर, एक अनजान मन्जिल की ओर,
कुछ बात है मुझ में, जो खुद को अजनबी महसूस करा रही है, और सवाल उठा रही है, "क्या हो रहा है मेरे साथ?"

सफर का अंत नहीं, बस निरंतर सफर में हूं,
जिन्दगी के अनगिनत रहस्यों की खोज में, अपनी राह ढूंढता हूं।

सफर में हूं, बस निरंतर सफर में, 2

एक दीपक जलता है, दीप्ति से अभिभूत,
सिनेमा की दुनिया में, वोह अद्भुत संवाद।

नई रोशनी में उमंग, नए सपनों की राह,
दिल में छूटे, विचारों का एक नया संग्राह।

दोस्तों की दीप्ति, थोड़ी सी जलन सी,
मिली दोस्ती का रंग, दिल को मिली राहत की भी।

कुछ तो हुआ है दिल में, कुछ बसा है धड़कनों में,
यमुनानगर से दिल्ली, सफर भरा है जीने की रंगीन यात्रा में।

साथ चलते हैं दोस्त, सफर की इस राह में,
कुछ पता नहीं बट रहा, क्या है यह लड़ाई किस से।

सफर में हूं, बस निरंतर सफर में,
दोस्तों के संग, अनजानी यात्रा में।

सफर में हूं, बस निरंतर सफर में,

एक दीपक जलता है, दिल के गहराई से,
जीवन के सफर में, नई रोशनी की तलाश में।

उमंग उठती है, दिल में नयी जोश से,
दीप्ति की मिलन से, सिनेमा के सफर में।

दोस्ती की राहों में, थोड़ी जलन सी है,
दिल जुड़ रहा है, और कहीं टूट भी रहा है।

यमुनानगर से दिल्ली, सफर में हूं मैं,
कुछ तो बात है, जो सब मुझको देख रहे हैं।

सफर में हूं, बस निरंतर सफर में,
अपने आप से, दोस्तों से, नई दुनिया की तलाश में।

अनंत सफर 3

आगे बढ़ते हुए, नई दिशा की ओर,
चलने की राह में, मेरा मन है बेकाब।

सिखता हूं मैं, हर कदम पर नया कुछ,
अपने अंतर को, खोजते हुए, खोजता हूं।

शब्दों की मधुरता में, गहराई है एक अलग,
हिंदी और इंग्लिश, संगीत हैं ये संग।

अनमोल हैं सपने, जो मेरे दिल में बसे,
हीरे से कोयला, और कोयले से हीरा, जितने महल बसे।

चलने की धारा में, नई दिशा की ओर,
जागरूक हूं, सपनों की ओर, नवीन मार्ग जो।

जीवन की रोशनी, हर पल नया सवेरा,
बस चलता हूं, बस बढ़ता हूं, नई राहों में जो मैं हूं बहता।

अनन्त सफर 2

**अनन्त सफर**

चल रहा हूं, नयी दिशा की ओर,  
मेरा चंचल मन, नया कुछ जानने लगा है।  
गलतियों की राहों में, सही कदम चलने लगा है,  
कुछ गलत काम को कम, कुछ सही कदम मांगते चलने लगा है।  

मेरे कदम, कदम कदम पर बाप रहे हैं,  
लोगों से मिलते हैं, खुद को जानते हैं,  
हर कदम पर, अपने आप को जानते हुए,  
मैं चल रहा हूं, बस चलता ही जाऊं।  

शब्दों में खोया, शब्द में मैं,  
सभी में कुछ न कुछ, खोट रहा है।  
अपने आप को ढूंढने, निकला हूं,  
हीरे से कोयला, कोयले से हीरा,  
बानो से कोयले, कोयले से हीरा,  
हीरे से सोना, सोने से हीरा,  
मैं कीमती बानो, अनमोल बानो,  
सबसे ऊपर, सबसे आगे, सबसे पीछे, सबसे आगे।  

अपने सफर में, मैं बढ़ता हूं,  
बस बढ़ता ही जाऊं, अपने सपनों की ओर।  
जाने में ही रहूं, बस में ही रहूं,  
इस बात पर, मैं रहूं, बस में ही रहूं।  

नई दिशा की ओर, अपने मन को संगीन,  
हर कदम पर, नयी राह का आनंद लेने में।  
बस बढ़ता ही जाऊं, अपने सपनों की ओर,  
चल रहा हूं, नयी दिशा की ओर।

अद्वितीय सफर, 2

जीवन की नई राह, एक अद्वितीय सफर,
नई दिशा की ओर, मन का उत्साह अपार।

चलते रहो, निरंतर, कदम बढ़ते जाओ,
अनजाने में भी, नयी दिशाओं को पाओ।

गलतियों से सिखो, सीखो से बढ़ो,
सपनों को पूरा करो, आगे बढ़ते चलो।

हिंदी, इंग्लिश, और उर्दू की मिलान,
नई सोच, नई भावना, हर पल एक नया अभियान।

खोजो अपनी पहचान, खुद को ढूंढो आवाज़,
जीतो हर क्षण, नई दिशा में, नई खुशियों के साथ।

साथ चलो, मेरे साथ, नयी दिशा की ओर,
ज़िन्दगी का सफर, हर पल, हर क्षण, अद्वितीय और अविस्मरणीय हो।

अद्वितीय सफर

**अद्वितीय सफर**

चल रहा हूं, बस चलता ही जाऊं,  
नई दिशा की ओर, नयी राहों में कहीं।  
हर कदम पर, अनुभवों की भरमार है,  
खोजता हूं मैं, खुद की पहचान में।  

हर रोज़, हर पल, नई सीखों का संगम,  
सिखता हूं, बढ़ता हूं, नयी दिशा की तलाश में।  
धीरे-धीरे, अपने सपनों की ऊँचाइयों को छूता हूं,  
मन का रंग, खुद की भावनाओं में बिखरता हूं।  

शब्दों की कहानी, हर लम्हे में नयी,  
सोच की उड़ान, सपनों की उड़ानी।  
अनमोल बानो की खोज, हीरों की मोहताज़ी,  
हर कदम पर, नए सफर की तरफ बढ़ता जाता हूं।  

दिल की आरज़ू, जगने लगी है रोशनी,  
नई दिशा की ओर, बढ़ रहा है मेरा मनी।  
जाने में ही रहूं, बस में ही रहूं,  
अपने सपनों को पूरा करते, हर पल, हर दिन।  

खोज में हूं,

चल रहा हूं, नयी दिशा की ओर,
खोज में हूं, अपने सपनों की मंजिल की तलाश में।

गलतियों के साथ, सीखता हूं मैं,
हर कदम पर, नई चुनौतियों को आगे बढ़ाने में।

धीरे-धीरे समझता हूं, जीवन की गहराई,
नई दिशाओं की ओर, मेरा मन उत्साहित है।

जाने में ही रहता हूं, बस में ही रहता हूं,
अपने सपनों को पूरा करता, हर पल, हर दिन।

हिंदी की मिठास, इंग्लिश की गहराई,
अपने भाषाओं का संगम, मेरे मन की खोज में।

खोजता हूं, हीरे की मोहताजी को,
बस उसके अनमोली खोज में हूं खोया।

दिल की आरजू, जगने लगी है रोशनी,
नई दिशा की ओर, बढ़ रहा है मेरा मनी।

सपनों की उड़ान, अपने पंखों से फैलाऊं,
हर कदम पर, नयी राह को चुनूं।

City Life: सपनों का शहर या बुराइयों का नगर।



बड़े शहरों में रहने वाले लोगों की आशा छोड़ दी गई है। उन्होंने जीवनघातक प्रदूषण, ट्रैफिक का अराजकता, खराब पीने का पानी, उफान पदार्थों का अधिक जलन और कचरे के ढेर, और प्राधिकरणों के भ्रष्टाचार और उदासीनता के साथ जीना सीख लिया है।

आज की युवा पीढ़ी, जो शहरों में बड़ी उम्मीदों के साथ आती है, उन्हें अक्सर यहाँ के जीवन कठिनाईयों का सामना करना पड़ता है। वे नौकरी के पीछे भटकते हैं, अपार्टमेंट किराए पर नहीं मिलता, और तनाव में रहते हैं कि कल का दिन कैसा होगा। इन लोगों को अपने सपनों को पूरा करने के लिए एक अवसर तक पहुँचने के लिए बहुत अधिक मेहनत करनी पड़ती है।

शहरों में बढ़ते प्रदूषण और ट्रैफिक की व्यापकता ने लोगों की सेहत को भी खतरे में डाल दिया है। ज्यादा प्रदूषण के कारण वायुमंडलीय रोगों का खतरा बढ़ गया है, जो इन्हें खुद को बचाने के लिए विभिन्न ध्यान और धर्म का सामना करना पड़ता है।

शहरी समस्याएँ न केवल लोगों की सेहत को प्रभावित करती हैं, बल्कि पर्यावरण और नागरिक सामाजिक स्थितियों को भी अस्तित्वांतरित कर देती हैं। उच्च प्रदूषण स्तर, भूमिगत और आबादीकता के विपरीतताओं का परिणाम है, जो अक्सर शहरी क्षेत्रों में सामाजिक और आर्थिक विषमता को बढ़ा देता है।

शहरी विकास की प्रक्रिया में, कचरे के संग्रहन, स्वच्छता, पानी आपूर्ति, और सार्वजनिक परिवहन जैसी महत्वपूर्ण बुनियादी सेवाओं की कमी और अस्तित्वांतरण की समस्याएँ उत्पन्न होती हैं।

इसके अलावा, शहरों में भ्रष्टाचार और प्राधिकरणों की उदासीनता के कारण लोगों का विश्वास कम हो जाता है, जिससे सामाजिक और आर्थिक विकास में विघटन होता है।

इन सभी समस्याओं का समाधान करने के लिए, सार्वजनिक संस्थानों को सही नीतियों को अपनाने और काम करने की जरूरत है, ताकि शहरों का विकास सामूहिक और सामग्रीक तरीके से हो सके।

अधिकांश लोगों के लिए बड़े शहरों में जीना एक चुनौतीपूर्ण अनुभव हो सकता है, लेकिन यहां भी कुछ चमत्कार होते हैं। यहां के लोग अपने सपनों को पूरा करने के लिए अधिक मेहनत करते हैं, और शहरी जीवन की गतिविधियों में अपने रिश्तेदारों और मित्रों के साथ खुशियाँ और अनुभवों को साझा करते हैं।

अंत में, शहरी जीवन का मतलब है कि हमें नई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है, और हमें अपने आप को उन चुनौतियों के सामना करने की क्षमता देने के लिए तैयार रहना चाहिए। शहरी जीवन को न सिर्फ सपनों का नगर बनाने के लिए देखा जाता है, बल्कि यह एक अवसर है जो हमें अपनी क्षमताओं को पहचानने और उन्हें बढ़ावा देने का माध्यम भी है।

अज्ञात की खोज में,

जीवन की राहों में, अज्ञात की खोज में,  
खो जाता हूं, अपने सपनों की दुनिया में।  

सही गलत का संघर्ष, मन की उलझनों में,  
नयी दिशा की तलाश में, राह में बिखरता हूं।  

भाषाओं का संगम, विचारों की लहरें,  
हिंदी, अंग्रेजी की मिलन, एक नई दुनिया बनाता हूं।  

अनमोल रत्न की खोज, सोने की मदहोशियों में,  
हीरा बनने की चाह, मन के आगे बढ़ता हूं।  

जाने में ही रहता, खोज में ही रहता,  
नई दिशा को खोजता, मन का सफर बनता हूं।  

दिल की आरजू, सपनों की रोशनी,  
जीवन की राहों में, नई कहानी लिखता हूं।

अनन्त सफर

**अनन्त सफर**

चल रहा हूं, अनगिनत सफर पर,  
नयी दिशा की खोज में, हर कदम लहराता हुआ।  
छोड़ गया पीछे बीते कल को,  
नए सपनों की ओर बढ़ता हुआ।  

हर पल, हर क्षण, नयी आवाज़,  
नयी धुन में गुज़रता हुआ।  
खोजते हुए खुद को, अपनी पहचान को,  
जीवन की राह में प्रवाहित होता हुआ।  

हिंदी की मिठास, इंग्लिश की गहराई,  
अनगिनत भाषाओं का संगम मेरे मन में।  
हीरे की तलाश में, सोने को पाता हुआ,  
अपनी अनमोली पहचान को खोजता हुआ।  

सफलता की ऊंचाइयों को छूते हुए,  
चलता हूं, नयी दिशा की ओर, संग-संग जीते हुए।  
धीरे-धीरे समय के साथ, सीखता हुआ,  
बस चलता ही रहता हूं, बस बढ़ता ही जाता हुआ।  

खोज 2

**खोज में**:

चल रहा हूं, खोज में नई दिशा की,
धुंधले सफर में, मेरी राह है विचरणीय।

छोटी-छोटी गलियों से, बड़ी-बड़ी राहों तक,
हर कोने में छुपा, एक अनोखा राज़ है।

शब्दों की गहराई, भावनाओं का संगम,
समझ में नहीं आता, कौन सा है सही मार्ग।

हिंदी की मिठास, इंग्लिश का जादू,
भाषाओं की खोज में, नया रंग है प्राप्त।

सपनों की ऊँचाइयों में, खोजता हूं हीरे को,
सोने की खान में, खोजता हूं स्वर्णिम मोर।

धीरे-धीरे सीखता हूं, नए सफर का सच,
खुद से मिलता हूं, हर कदम पर खुदा।

जाने में ही रहूं, बस में ही रहूं,
खोजता हूं अपने आत्मा को, नई दिशा में।

बात जमाने की नहीं, खोज में हूं अपनी,
सही कदम, गलत कदम, सब को मिलाकर बढ़ता हूं।

जीवन की रोशनी, हर पल में जगमगाती है,
खोज में हीरे को, सोने का सच खोजता हूं।

खोज

**खोज**

चलते चलते, नयी दिशा की खोज में,
मन की गहराइयों में, उस अनजान राह में।

छोटी-छोटी सपनों की बुनियादों से,
बड़ी-बड़ी आशाओं का निर्माण करते हुए।

गलतियों की चालों से सीखते हुए,
सही कदमों की ओर अग्रसर होते हुए।

हिंदी की मिठास और इंग्लिश की गहराई,
भाषाओं की खोज में, नई पहचान बनाते हुए।

हीरे से कोयला और कोयले से हीरा,
अनमोल बानों की खोज में खोये जाते हुए।

अपने आप को ढूंढते हुए, अपनी पहचान में,
सच्चाई की राह में, अग्रसर होते हुए।

जाने में ही रहते हुए, बस में ही रहते हुए,
अपने सपनों को पूरा करते हुए, हर कदम पर।

दिल की आरजू में, जगते हुए रोशनी,
नई दिशा की ओर बढ़ते हुए, अग्रसर होते हुए।

यही जीवन की खोज है, यही सफर है,
नई दिशाओं की ओर, अग्रसर होते हुए।

चल रहा हूं, नए सफर की ओर, 2

चल रहा हूं, नए सफर की ओर,
भावनाओं की लहर में बहता, मैं खोया हूं बहुत दूर।

नई दिशा की तलाश में, हर कदम पर अनुभवों की गहराई,
समझौतों की सीमा को छोड़, उत्साह से भरा है मेरा मन।

हिंदी की मिठास, इंग्लिश की गहराई,
भाषाओं का संगम, नई सोच की प्रेरणा है।

सफर में ही रहूं, अपनी मंजिल को चाहता हूं,
सपनों की खोज में, नया जीवन बसाने का संग।

शब्दों का सागर, विचारों की लहर,
कल्पनाओं की उड़ान, अगले सफर की प्रेरणा है।

चल रहा हूं, नए सफर की ओर,
आत्म-संवाद में, अपनी पहचान की खोज में।

चल रहा हूं, नए सफर की ओर,

चल रहा हूं, नए सफर की ओर,
भावनाओं की लहर में बहता, मैं खोया हूं बहुत दूर।

नई दिशा की तलाश में, हर कदम पर अनुभवों की गहराई,
समझौतों की सीमा को छोड़, उत्साह से भरा है मेरा मन।

हिंदी की मिठास, इंग्लिश की गहराई,
भाषाओं का संगम, नई सोच की प्रेरणा है।

सफर में ही रहूं, अपनी मंजिल को चाहता हूं,
सपनों की खोज में, नया जीवन बसाने का संग।

शब्दों का सागर, विचारों की लहर,
कल्पनाओं की उड़ान, अगले सफर की प्रेरणा है।

चल रहा हूं, नए सफर की ओर,
आत्म-संवाद में, अपनी पहचान की खोज में।

अधकच्ची कविताएं

**1. नयी दिशा की ओर**

चंचल मन मेरा, नयी दिशा की ओर,
अज्ञात के साथ, जैसे हूं सैलाब की ओर।

हर कदम पर, नयी जंगल खोजता,
अनजान सफर में, अपना सवेरा ढूंढता।

गलती हो या सही, हर अनुभव में सीख,
मन की गहराइयों से, नयी उम्मीद फूल सीख।

**2. शब्दों की खोज**

कलम की राहों में, शब्दों की खोज में,
अपने आत्मा के साथ, अनछुए राज में।

सच्चाई की खोज, जैसे धूप का सफर,
जीवन के मिश्रण में, सत्य का प्रकाश तैयार।

अल्फ़ाज़ की जंगली धारा, अनजान समुंदर की लहर,
आत्मा की उत्कंठा में, अपनी पहचान की तलाश हर।

**3. हीरे की खोज**

जीवन की खोज में, हीरे की तलाश में,
अपनी क्षमताओं को, नई दिशा में रख देता।

संघर्षों के जंगल में, अपने सपनों की खोज में,
समृद्धि की दिशा में, नवीनतम राह की तलाश में।

जीवन की मिट्टी में, हीरों का सफर ढूंढता,
स्वप्नों की पुण्यता में, सफलता की खोज छू लेता।

**4. अनमोल बानो**

मन की गहराइयों में, अनमोल बानो की खोज में,
अपने आप को, अद्वितीयता की पीठ पर पाता।

सत्य की खोज में, धरातल की गहराइयों में,
अपनी सत्यता की पहचान करता, नवीनतम राह की तलाश में।

जीवन की उत्साह भरी खोज में, अपनी अनमोलता को पहचानता,
स्वयं को प्रकट करता, अपने स्वयं की खोज में।

कुछ कविताएं जिन पर मैं लिखना चाहता हूं उनका विवरण

1. **नया सवेरा**
   नया सवेरा, नयी उम्मीदें,
   दिल की रोशनी, जीवन की राहतें।

2. **शब्दों की खोज**
   शब्दों की खोज में खोया,
   अपने आप को ढूंढने को निकला।

3. **हीरे की खोज**
   हीरे से कोयला, कोयले से हीरा,
   अपनी मूल्यवानी कीमत को पहचाना।

4. **बस में रहना**
   लोगों की भीड़ में छुपा,
   अपनी अद्वितीयता को बनाए रखा।

5. **अनमोल बानो**
   सोने से भी अनमोल,
   अपनी अद्वितीयता को माना।

6. **जाने में रहना**
   लोगों की भीड़ में रहते हुए,
   अपनी खासियत को नहीं खोया।

7. **खोटे सपने**
   सपनों में खोटी आस,
   सही राह पर चलने की आस।

8. **सत्य की खोज**
   शब्दों की सत्यता की खोज,
   अपने आप को सही राह पर ले चला।

9. **धीरज का सफर**
   अधीरता के साथ चला सफर,
   अपनी मंजिल को पाने का इंतजार।

10. **संगीत की धुन**
    जीवन की मेलोदी, संगीत की धुन,
    अपने सपनों को साकार करने का जुनून।

पहाड़ों से निकलकर, मैं खुद को खोजता हूं

पहाड़ों से निकलकर, मैं खुद को खोजता हूं,
सफर की धुंध में, अपने अंतर को बुझता हूं।
नए लोग, नई दोस्त, नई राहें,
सब कुछ नया, पर मैं भी तो एक नया चेहरा हूँ।

कुछ भी नहीं बदल रहा, कुछ सब कुछ बदल गया है,
सफर की मिटटी में, मैं अपने आप को पाया है।
नई सोना, नई खान, नया सपना,
मेरे अंदर की आग, नए उत्साह का प्रतिक है।

क्या मैं नया हूँ, या नया होते जा रहा हूँ,
यह सवाल न जाने कितनी रातें सुलझाता हूँ।
पर विश्वास अपने आप में, और सपनों में,
मैं आगे बढ़ता हूँ, अपने जीवन की धड़कनों में।

कुछ करने की हूँ लालसा, कुछ करना है बड़ा,
जीवन की धारा में, मैं अपनी मंजिल का ख्वाब बुनता हूँ।
धैर्य से, संघर्ष से, और उम्मीद के संग,
मैं चलता हूँ, नयी दिशाओं की ओर, हर एक कदम पर, नई सफलता की ओर।

स्नेह और प्रेम की बातें होस्टल की यादों में,

स्नेह और प्रेम की बातें होस्टल की यादों में,
दोस्तों के साथ बिताई वो रातों की बातों में।

हॉस्टल के कानपटी में बनी अम्रपाली लोटस की याद,
वहाँ के खाने की मिठास अब भी दिल में है बसी बार-बार।

नए नए चैप्टर के साथ कॉलेज का माहौल,
कैंटीन में बिताए लम्हों की मिठास हर बार।

रोज़ की जिंदगी में नई उत्साह और रोमांच,
इंदिरापुरम से नोएडा की यात्रा, दोस्तों का संग।

स्नेह की मीठी मुलाकात नोएडा में हर रोज़,
जीवन की कहानी में नए सफर, नये हर ख्वाब के छोर।

अपनी जिंदगी की हर लम्हें को जीते हैं,
खुद से, दोस्तों से, और खुदा से मिलकर हर पल को गीते हैं।

स्नेह से मिलकर

स्नेह और प्रेम की राह पर चल,
दोस्ती का साथ हर कदम पर साथ है।
हॉस्टल की लाइफ, अनजानी राह,
आम्रपाली लोटस, हर पल नया संगीत बजाती है।

पॉर्न हॉस्टल के खाने में छुपा है स्वाद,
जीवन के हर रंग में, अनुभवों की बात।
कॉलेज की कैंटीन में, नए-नए चैप्टर का आनंद,
जीवन की मिठास, हर खुशबू में बसा अद्भुत रंग।

इंदिरापुरम से नोएडा की यात्रा,
स्नेह की मिलनी, खुशियों का साथी बना।
रोजमर्रा की जिंदगी, हर पल अनमोल,
सपनों की उड़ान, आसमानों की खोज।

जीवन के पाठ्यक्रम में, ज्ञान का सागर,
सीखो और बढ़ो, बनो अनुभव का यार।
स्नेह से मिलकर, खुशियों का मेला,
जीवन की हर कड़ी, हो आबादी का खेला।

स्नेह की राह पर चलते

स्नेह की राह पर चलते,  
प्रेम के रंग में खिलते।  
दोस्ती की बातें जो छाई,  
हॉस्टल की यादें सजी।  

आम्रपाली लोटस के नाम से,  
हॉस्टल की यादें बनीं दाम से।  
खाना साथ खाने का मजा,  
जीवन की रंगीन रजा।  

नए ज्ञान की किरणें चमके,  
कॉलेज की चारों दीवारों में झलके।  
काम का दायित्व नया,  
हर चैप्टर में नया मिला।  

रोज की जिंदगी में संग स्नेह का मिलना,  
इन लम्हों में खुद को ही खो जाना।  
इंदिरापुरम से नोएडा की यात्रा,  
स्नेह से मिलकर बनी प्यारी कहानियाँ।  

जीवन की कविता हर पल नयी,  
खुद को खोजते हुए हर रोज लगती है जरुरी।  
स्नेह, प्रेम, दोस्ती की गहराई,  
हर रोज को बनाती है जिंदगी को सुंदरी।

स्नेह का साथ

स्नेह की राह पर चल,
प्रेम के गीत गाते चल।
दोस्तों के साथ हंसते-खेलते,
हॉस्टल की लाइफ में खो जाते।

आम्रपाली की मिठास और लोटस का रंग,
हॉस्टल के खाने में बसा एक संग।
नये-नये चैप्टर का खुला दरवाजा,
कॉलेज की कैंटीन में हर दिन कुछ नया।

इंदिरापुरम से नोएडा की राह,
स्नेह का साथ, खुशियों का एहसास।
रोज़मर्रा की जिंदगी में खोज,
खुद को पाने का हर एक मोज़।

लोगों से मिलते, बातें करते,
जीवन के रंगों में खुद को बिखेरते।
स्नेह का साथ, हर पल मिले खुशियाँ,
इस जिंदगी की कविता, अब समाप्त यहाँ।

स्नेह और प्रेम की बातें,

स्नेह और प्रेम की बातें,
दोस्ती के रंग और मातें।

हॉस्टल की लाइफ की यादें,
आम्रपाली लोटस, खाने की बातें।

नए ज्ञान के साथ, नये चैप्टर की खोज,
कॉलेज की कैंटीन में, नए सपनों की दौड़।

रोज़ की जिंदगी, नए अनुभवों से सजी,
इंदिरापुरम से नोएडा, सपनों का सफर चला पीछे।

स्नेह से मिलना, मुस्कानों की बातें,
हर पल नए सफर की यादें, दिल की गहराई से लिखी बातें।

जीवन की कविता, रंगीन है और सजी,
हर कदम नए रास्ते, और नए सपनों की भरमार है सजी।

स्नेह का संग और प्रेम की बातें,

स्नेह का संग और प्रेम की बातें,
हॉस्टल की लाइफ में छाई रातें।
आम्रपाली की हंसी, लोटस का स्वाद,
हर दिन नए दोस्तों की बर्बादी में मस्ती का रंग।

कॉलेज की कैंटीन में चाय की चुस्की,
नए-नए चैप्टर की हर कहानी सुनी।
इंदिरापुरम से नोएडा की यात्रा,
स्नेह के साथ बिताई हर पल की यादें हैं स्वर्णिम संग्रह।

रोजमर्रा की जिंदगी की कहानी,
अपने आप को पाने की खोज में निकला सफर अनजानी।
जीवन की हर राह पर नई चुनौतियों का सामना,
पर स्नेह के साथ हर मुश्किल को किया था सामना।

जीवन की कविता में छुपा है ये सच,
स्नेह और प्रेम की राह में है सुख का संच।
नए दिन, नई राहें, नए सपने साथ हैं,
स्नेह के साथ चलते हुए, जीवन की राहें खोजते हैं।

स्नेह और प्रेम की कहानी,

स्नेह और प्रेम की कहानी,
हॉस्टल की लाइफ की मिठास और रानी।
आम्रपाली के खाने की यादें,
हर दिन के चंद नए चरण की खोज में।

कॉलेज की कैंटीन में चाय की मिठास,
नए-नए चैप्टर की शुरुआत का आगाज।
रोज़ की दौड़ में, इंदिरापुरम से नोएडा की राह,
स्नेह की मिलन की रातों में है बातें खास।

जीवन की यह कहानी, एक संगीत बनी है,
हर लम्हे में नई खुशियों की बरसात है।
मैं जो भी कर रहा हूं, मैं खुद को पहचान रहा हूं,
लोगों से मिलकर, जीवन की राहों में नया सफ़र रहा हूं।

पहाड़ों से निकला, बदला न कुछ मैं

पहाड़ों से निकला, बदला न कुछ मैं,
पर सब कुछ बदल गया, रास्ते और मैं।
नए लोग, नए दोस्त, नई जगह,
हर कोने में बसा, एक नया सपना।

नए खान, नई सोने की चाह,
विचारों में डूबा, मैं एक समय रात की बात।
क्या हूं मैं नया, या बस वही पुराना,
क्या है मेरे अंतर में, यह जानना मुश्किल समाना।

पर विश्वास अपने आप में, मैं बढ़ता जा रहा हूं,
जीवन के सागर में, अपनी नौ को लहराता हूं।
कुछ करने की चाह, कुछ बनने की तमन्ना,
है मेरे मन में, जीने की नई रूह का उत्साह।

बड़ा करने की लालसा, ज़िंदगी को चुनौती देना,
पास है मुझे जीने का सही मायना।
इस संगीन दिल से, जीवन के मेले में,
मैं आगे बढ़ता हूं, अपने सपनों के साथ, नई दिशा में।

नये चैप्टर की राहें

स्नेह का रंग बिखरता है,
प्रेम की राहें रोशनी से भरता है।

दोस्ती की बातें, हंसी की लहर,
हॉस्टल की जिंदगी, खुशियों का सफर।

आम्रपाली की मिठास, लोटस का रंग,
हॉस्टल का खाना, दिल को छू जाता ज़ंग।

नये चैप्टर की राहें, कांपू की तरह,
कॉलेज की कैंटीन, सपनों का अद्भुत विहंग।

रोज की जीवनधारा, इंदिरापुरम से नोएडा की ओर,
स्नेह की मिलन की आस, है सबसे खास प्यार।

जिंदगी के किताब में, हर पन्ना नया,
खुशियों का जादू, सब कुछ है नया।

जो कुछ भी कर रहा हूं, अपने सपनों की पहचान,
लोगों से मिलकर, हर रोज करता हूं जीवन का गुंजार।

पहाड़ों से निकला, जीवन की राहों में

पहाड़ों से निकला, जीवन की राहों में,
सफर का मकसद, अपनी मंजिल की खोज।
नये लोग, नये सपने, नयी खोज,
हर कदम पर, नए रंगों में खोज।

कुछ भी नहीं बदल, ये लगता है,
पर वास्तव में, हर दिन कुछ नया सिखाता है।
विश्वास अपने आप पर, बढ़ता है चलता,
मुझे जीवन में, कुछ करना है बताता।

नया हूँ या पुराना, ये तो नहीं पता,
पर सपनों की राह में, मैं बढ़ता जाता।
कुछ करना है बड़ा, ये तय कर लिया,
जीवन के साथ, नए सपनों का आगा।

अब नए सवेरे, नए सपने सजाते हैं,
नयी दुनिया की ओर, हर पल बढ़ते हैं।
सीख रहा हूँ, बढ़ रहा हूँ, आगे बढ़ रहा हूँ,
जीवन के साथ, नए रंगों में खोज जाता हूँ।

पहाड़ों से निकला, बदल गया अनजान

पहाड़ों से निकला, बदल गया अनजान,
नए लोग, नए सपने, नई पहचान।
कुछ भी नहीं बदल रहा, लगता है,
पर मन में एक अजीब सा आगाज़ है।

नए दोस्त, नए संवाद, नए रंग,
ज़िन्दगी के सफर में, हर पल नया संग।
क्या मैं नया हो गया, या पुराना ही,
ज़िन्दगी की यह सच्चाई कहाँ छुपी?

सीख रहा हूँ, बढ़ रहा है विश्वास,
जीवन के साथ, कदम बढ़ा रहा हूँ बस।
कुछ करना है, बहुत कुछ करना है,
सपनों को हकीकत में बदलना है।

नयी राहों पे, नए सपनों के साथ,
चलते रहें, खुद को खोजते रहें बरसात।
क्योंकि ज़िन्दगी का सफर, हर पल है नया,
बस, हर कदम पर, खुद को बदलते जाया।

पहाड़ों से निकलकर, एक नया सफर शुरू हुआ,

पहाड़ों से निकलकर, एक नया सफर शुरू हुआ,
समय की लहरों में, अपने आप को खोजते हुए।
नये लोग, नए दोस्त, नया खान, नया सोना,
सब कुछ बदला, पर क्या मैं भी बदला?

हर कदम पर, एक नया सवाल खड़ा होता है,
क्या मैं वही पुराना, या नया होता जा रहा हूँ।
सोचता हूँ, खोजता हूँ, सपनों की उड़ान भरता हूँ,
अपने आप में विश्वास बढ़ाते हुए, आगे बढ़ता हूँ।

कुछ करने की आग में, धरता हूँ सपनों की बूंदें,
बनाता हूँ अपना मंज़िल की ओर रवाना हर चुनौती को स्वीकार कर के।
जीवन के महासागर में, नई लहरों में तैरता हूँ,
कुछ नया करने की लालसा, और खुद को पूरा करने की इच्छा के साथ।

पहाड़ों से निकला, बदल गया मैं 2

पहाड़ों से निकला, बदल गया मैं,
सफर में सीखा, कुछ नया पाया मैं।
सब कुछ बदल रहा, हर और नया है,
पर मेरी आत्मा में, नई चाह है आई।

नए लोग, नए दोस्त, नई दिशाएं,
नया खान, नया सोना, नई राहें।
क्या मैं नया हो गया? या पुराना हूँ मैं?
कुछ भी नहीं पता, बस सपनों का विश्वास आई।

नई दिशाओं में, अपने को पहचाना,
मन में ज्यों ही, नए सपने आना।
आत्मा की ऊर्जा, नयी ऊर्जा से भरी,
आगे बढ़ते हुए, नए संघर्षों से भरी।

कुछ करने का है अब इरादा,
बड़ा सपना है, बड़ा मकसद है।
विश्वास अपने आप पर, बढ़ता हुआ,
जीवन के साथ, नया रिश्ता बुनता हुआ।

पहाड़ों से निकला, बदल सा गया हूं,

पहाड़ों से निकला, बदल सा गया हूं,
पर अंदर से, वही पुराना हूं।
नए लोग, नई दोस्त, नई राहें,
पर अपने सपनों की पहचान हूं।

नए खान, नई सोना, नई सोच,
पर अपने मकसद में, नया जोश।
कुछ नया सीखता हूं, कुछ नया करता हूं,
अपने अंतर में, नया विश्वास भरता हूं।

जीवन के सागर में, मैं तैरता हूं,
कुछ करने का, बहुत बड़ा सपना हूं।
हर कदम पे, अपने आप को पाता हूं,
अपने सपनों की ऊँचाइयों को छूता हूं।

नए होने का अहसास, नया होते जाना,
पर मैं बस एक साथी, सपनों का पुराना।
अपने मकसद के साथ, आगे बढ़ता हूं,
जीवन के हर क्षण में, कुछ नया करता हूं।

विश्वास की खोज में, अपने आप को पाते हुए,

पहाड़ों से निकलकर जग में खोया,
अपने आप को खोजते खोजते खो गया।
नया सोना, नए संगीत की खोज,
मेरे अंतर में एक नया सफर जोड़ा।

नए लोग, नए दोस्त, नए सपने,
जीवन की नई लहरों में बहते हुए।
कुछ नया हो गया है, कुछ भी नहीं है बदला,
पर मन में नयी उमंगें जगाते हुए।

हर कदम पे नयी चुनौतियाँ,
हर पल पे नया सिक्का चला।
क्या मैं नया हो गया हूं, या वही पुराना,
ज़िन्दगी की इस लड़ाई में, नया स्वर गुनगुनाते हुए।

विश्वास की खोज में, अपने आप को पाते हुए,
हर सपने को हकीकत में बदलते हुए।
कुछ करने का हौंसला, कुछ करने की लालसा,
जीवन की धरा में, नए सागर को छू लेते हुए।

सीखते हुए, मैं आगे बढ़ रहा हूँ,

पहाड़ों से निकला, मैं अनजान सफर में,
कुछ नया सीखते हुए, अपने आप से लड़ते हुए।
सब कुछ बदल गया, पर मैं न कुछ बदला,
या शायद बदल रहा हूँ, इस नए दौर में बना।

नए लोग, नए दोस्त, नए सपने हर और,
पर कहीं भी, मैं खुद को पहचानता हूँ।
नए खान, नए सोने की चाह में,
मैं खुद को खोते हुए, अपने सपनों के बड़े सपने।

कुछ नया सीखते हुए, मैं आगे बढ़ रहा हूँ,
विश्वास अपने आप पर, धीरे-धीरे बढ़ता हूँ।
कुछ करने की चाह, कुछ बनने की लालसा,
जीवन के सफर में, खुद को पाने की उम्मीद सहसा।

बड़ा कुछ करने का सपना, हृदय में जलता है,
नए रास्तों पे चलते हुए, अपने सपनों का पूरा करता है।
नए होने का ख्वाब, पुराने हौसले के साथ,
मैं आगे बढ़ता हूँ, हर दिन, नई राहों की खोज में निकलता हूँ।

जीवन के पथ पे, नया अवलोकन,

पहाड़ों से निकला, अनजान सफर में,
खुद को ढूंढता, नये रास्तों में।
सब कुछ बदल गया, पर मैं कहाँ,
क्या नया हूँ, या पुराना हूँ फिर वही आँखें?

नए लोग, नए दोस्त, नया सोना, नया स्वप्न,
मैं क्या हूँ, कहाँ खोया, कौन सा सफर अपने? 
पर विश्वास बढ़ता, अपनी माया में,
कुछ करना है, बहुत कुछ, अब और नया मंज़िल की ओर चलते हैं।

जीवन के पथ पे, नया अवलोकन,
सीख रहा हूँ, सोच रहा हूँ, और आगे बढ़ रहा हूँ।
मेरे सपनों की उड़ान, अब है सच होने की राह,
नए जोश में, नयी उम्मीद के साथ, जीता हूँ मैं यह संघर्ष का लड़ाह।

दिल्ली के बाजारों में,

घर से पहाड़ों की ओर, एक नजर जाती है,
शहरों की गलियों में, उसकी कहानी बनती है।
पासे-अपने सपनों की, उसकी आशाओं की छांव,
दिल्ली के बाजारों में, उसकी खुशियों की रवानी बनती है।

वहाँ आकर, वह सीखता है, वहाँ खो जाता है,
नए सपनों की राहों में, वह खुद को पाता है।
पुराने सपनों की, वह आबादी बदलता है,
नई धुनों के साथ, वह अपना नाम रचता है।

रूटीन की बातों में, उसकी बेबसी गुम होती है,
शहर की धड़कनों में, उसकी खोज धूमिल होती है।
प्यार से छू जाता है, हर अनजान रोशनी का पता,
नई दुनिया में, वह अपने सपनों का जहाँ सजाता है।

धरती की गोद में, उसका हर कदम धूल जाता है,
पर शहर के रास्तों में, उसका सपना बढ़ता है।
उसके हौसलों से, हर मुश्किल को हरा देता है,
नई दुनिया में, उसका नाम बड़ा और गौरवशाली बनता है।

दिल्ली की धूम-धाम में,

ऊँची पहाड़ों की चोटी से,
निकला एक युवा वीराना हवाओं के सहारे।
छोड़ आया घर की छाँव, छोड़ गया अपने परिवार का संग,
शहरों की गलियों में, उसने अपना नाम बुना हर रंग।

दिल्ली की धूम-धाम में, उसने अपनी दास्ताँ लिखी,
जीवन की हर कठिनाई से, वह ने अपनी मंजिल को सलाखों में छिपी।
शहर की भीड़ में, खो गया वह अकेला,
पर अपनी ताक़त से, जीता उसने हर अजनबी का मेला।

जीने का नया अद्भुत अनुभव, सिखता गया वह हर पल,
कठिनाइयों में भी, ढूँढता गया अपना लक्ष्य का पता।
पहाड़ के पीछे से, शहरों की दुनिया में,
वह खोजता रहा, अपने सपनों की वही सीमा।

धरती की गोद में, बड़े-बड़े शहरों की खोज,
उसने किया अपना नाम, बनाया अपनी ही कोशिशों का मोल।
पहाड़ के ऊपर से, शहरों में आकर,
वह जीता गया, खुद को पहचानकर।

घर के दीवारों के बाहर,

घर के दीवारों के बाहर,
पहाड़ों की गोद में बसा संघर्ष वीर।
उसने छोड़ दिया अपने निवास को,
नए सपनों की खोज में, चला उसने दूर दरिया पार।

सड़कों की गर्मी, शहरों की भीड़,
उसने स्वप्नों को अपने दिल में बसा लिया।
जीवन की कठिनाइयों से लड़ते हुए,
नई राहों को अपनाते हुए, उसने खुद को पाया।

दिल्ली की सड़कों पर चलते हुए,
सपनों के पंखों को फैलाते हुए, उसने अपना नाम बनाया।
सीखने का जज्बा, करने की चाह,
उसके हर कदम से नई कहानियाँ बुनी जाती गई।

पहाड़ की चुपचापी रातों में,
उसने अपने सपनों को साकार किया।
शहर की रौशनी में, उसकी खुशियाँ खिली,
नए सपनों की धुंध से, उसने अपने दिल को मिला।

घर से बाहर, बाहर से घर,

घर की चादर में बुद्धिमानी की छाया,
बाहर की धूप में विश्वास की लहराहट।
अनुभवों का सफर, घर की छाँव में,
अन्तरंग स्थिति, बाहर के रंगों में।

घर की आगोश में स्नेह की गहराई,
बाहर की भीड़ में मिलता है नया राही।
घर की शांति, बाहर की गहराई,
एक साथ हैं, यही है जीवन की सजीवता।

बाहर की धूप में उम्मीद की किरण,
घर की चादर में प्रेम का अनमोल मणि।
जीवन की मंजिल, बाहर और अंदर,
हर मोड़ पर, है साथ, यही है सत्य का संदर्भ।

घर से बाहर, बाहर से घर,
जीवन का सफर, हर कदम पर एक अद्भुत परिवार।
संतुलन में सौंदर्य, एकता का संगम,
यही है मेरा घर, यही है मेरा धरोहर।

पहाड़ों के पीछे से आया एक योद्धा,

पहाड़ों के पीछे से आया एक योद्धा,
शहरों की गलियों में खोजता रहा रोशनी का पथ।
उसने छोड़ दिया अपने घर की छाँव,
नई दुनिया में उसने पाया नया स्वावलंब।

दिल्ली की धूप में उसने सिखा जीना,
अपनी मेहनत से उसने अपना अपना सपना सजाना।
राहों में उसने चलते हुए अपनी पहचान बनाई,
नए अवसरों में उसने अपना आत्मविश्वास बढ़ाई।

जीवन के रंग-बिरंगे चेहरों को देख,
उसने अपनी कल्पना में नई रंगतें देखी।
कुछ सीखा, कुछ किया, कुछ पाया, कुछ खोया,
पर उसकी मंजिल की दिशा में कभी न रुका, न हटा।

शहरों की गलियों में जहां धूप की धार है,
वहां उसने अपने सपनों को पंख लगाकर उड़ाया।
अपने नाम को रोशनी से सजाया,
नई दुनिया में उसने अपनी प्रेम की कहानी सुनाई।

घर से निकल,

घर से निकल, पहाड़ों की उचाइयों से,
शहरों की गलियों में बस खो जाए।
जो चीरती है सड़क, वहां नई दुनिया बसी है,
उस दुनिया में अपने सपनों को सजाए।

धूप में जलती राहों पर,
उसके कदम बढ़ते हैं, नयी राहों में लहराए।
शहर की शोर में, वह अपना स्वर सुनता है,
अपने अंतर की गहराई में, अपनी दुनिया बसाए।

जैसे सितारों की चमक उसके सपनों को रोशन करे,
वह अपने हसीन सपनों को साकार करे।
शहरों की भीड़ में भी, वह अपने लिए स्थान बनाए,
सपनों के पंखों पर उड़ान भरे, अपने सपनों को सच कराए।

धूप, धूल, शोर से लड़कर,
वह अपने सपनों को साकार करने की ओर बढ़ता है चलकर।
पहाड़ों की उचाइयों से शहरों की गलियों में,
उसकी रोमांटिक कहानी अब नयी ध्वनि में गूंजती है, नई यादों में।

नई दुनिया की ओर चले हम,

नई दुनिया की ओर चले हम,
सपनों की उड़ान भरो हम।
नया करने का आग्रह लेकर,
अपनी पहचान बनाओ हम।

सिर सुनहरी और जज्बात नए,
सपनों के रंग में रंग जाओ हम।
बड़ा करने की ताकत से,
सपनों को हकीकत में बदलो हम।

नई दुनिया की ओर चलते हैं हम,
सपनों की ऊँचाइयों को छूते हैं हम।
कुछ नया करने की आग लेकर,
अपने सपनों को साकार करते हैं हम।

चलो नई दुनिया में, नए इरादों के साथ,

नई दुनिया के रास्ते पर, चलना है हमें,
कुछ नया करने की आस में, जलना है हमें।
सपनों की उड़ान में, बातें करनी हैं बड़ी,
आगे बढ़ते चलो, नई राहों में खो जाओ तुम।

अपनी मेहनत से, नई कहानियाँ रचो,
बदलो दुनिया को, नए रंगों से सजो।
हो जाओ आगे, नयी ऊँचाइयों को छूने,
नए सपनों की ओर, अपनी कदम बढ़ाने।

चलो नई दुनिया में, नए इरादों के साथ,
सपनों की उड़ान भरो, हर दर्द को भूलकर।
बदलो आसमान को, तारों से सजाओ,
नई दुनिया की खोज में, अपने आप को पाओ।

चलो, बदलें ये दुनिया की तस्वीर,

आओ चलें नई दुनिया की ओर,
नई राहें, नए सफर और नया उत्साह संग में बोर।

चलते हैं हम, कुछ नया करने का संकल्प साथ,
बदलेंगे नज़रिया, बनाएंगे नया रास्ता विश्वास से ही मिलेगा हमें सफलता का साथ।

अब नहीं रुकेंगे, ना हारेंगे किसी हाल में,
सपनों को पूरा करने के लिए, हम लौटेंगे आवाज़ों के महासागर में।

नई दुनिया है, नई चुनौतियाँ हैं,
पर हौसले बुलंद हैं, और सपनों के पंख फैले हैं।

चलो, बदलें ये दुनिया की तस्वीर,
नए आरंभ की तैयारी, हर पल हो बेहतर।

चलो नई दुनिया की ओर, नए सपनों का सफर करें,

चलो नई दुनिया की ओर, नए सपनों का सफर करें,
मन के विशाल विचारों को हकीकत में उतारें।

बड़े सपने देखने हैं, नए उच्चारण सिखाने हैं,
समस्याओं के समाधान में नवीनता की भाषा बोलने हैं।

चलो, नई राहें खोजें, नए मील स्थापित करें,
आत्मा की उड़ान को आज़ादी की ऊंचाई तक पहुँचाएं।

नया करें, नए अनुभवों का मिलन ज़रूरी है,
विचारों को आज़ादी का स्वर देना ज़रूरी है।

चलो, नई दुनिया में, चलते हैं कुछ नया करने,
बड़ा सोचें, बड़ा धृष्टिकोण अपनाकर विश्व को साकार करने।

चलो नई दुनिया में, बढ़ते कदमों से,

चलो नई दुनिया में, बढ़ते कदमों से,
नया करते हुए, सपनों के उत्साह से।

धरती को सजाते, नवीनतम रंगों से,
सूरज की किरणों से, आँखों को भरते सपनों से।

कायाकल्प में हैं, हमारे सपने छुपे,
नया कुछ करते हैं, उन्हें बचाते।

सृजनात्मकता के सफर में हैं, हम जुटे,
नई दुनिया की ओर, हम बढ़ते।

रुका नहीं कभी, नए सपनों के साथ,
चलो नई दुनिया में, खो जाते इन राहों में हम साथ।

चल नई दुनिया में, कुछ नया करने,

चल नई दुनिया में, कुछ नया करने,
हर कदम पर नए सपने सजाने।
सीमाओं को छोड़, आगे बढ़ने का संकल्प,
उड़ान भरते हुए, नये विचारों का पुलिंद।

बड़ा करने का है जज्बा, नया करने का संकल्प,
बुने हैं नए सपने, जो दिल में छाए हैं गहरे।
मंजिल की ओर बढ़ते, नए रास्ते खोजते,
साहस और उम्मीद के साथ, नई दुनिया को चुनते।

हर कदम पर नई चुनौतियों का सामना,
हर मुश्किल को हराकर, हर रोज नई जीत प्राप्त करना।
नई दुनिया में, नए रंग चढ़ाने,
बड़ा और बेहतर बनाने, खुद को प्रेरित करने।

चलो नई दुनिया की ओर,

चलो नई दुनिया की ओर,
करते हैं कुछ नया, कुछ बड़ा शोर।
ज़रा हौसला बढ़ाएं, नए सपने सजाएं,
खुद को परिवर्तन की ओर हम ले जाएं।

सोचो नए आसमान की उड़ान,
खो दो पुरानी बातों की पाबंदी को तान।
देखो रोशनी की राह, मंजिल की तरफ,
नई चुनौतियों को हम मिलकर पार करें विश्वास से साथ।

चलो नई दुनिया में हम एक साथ,
नए संभावनाओं को हम पाएं जो हैं साथ।
नई कहानियों का आगाज़, नए उत्साह के साथ,
चलो नई दुनिया में, करें कुछ बड़ा, कुछ नया हम साथ।

चलो नई दुनिया में, कुछ नया करें,सपनों को पंखों पर उड़ान भरें।

चलो नई दुनिया में, कुछ नया करें,
सपनों को पंखों पर उड़ान भरें।
बड़े सपनों की, धूल उड़ा दें,
अपनी मंजिल को, हर हाल में पा लें।

नई दुनिया में, नए ख्वाब बुनें,
हर मुश्किल को, साहस से जीतें।
उच्चताओं को छूने, कभी ना डरें,
अपने अंदर की ताकत, हमेशा बरकरार रखें।

चलो नई दुनिया में, बड़ा करें कुछ,
सीमाओं को पार कर, सपनों का सफर करें।
अनजाने से दरिया में, कूद जाएं,
नई उड़ान भरकर, अपने आप को पहचानें।

चलो नई दुनिया में, रंग भरें आज,
नये रास्ते चुनकर, खुद को बदलें आज।
बड़े सपनों को, हमेशा साथ लेकर,
नई दुनिया में, हम बनें स्वप्नकार।

चलो नई दुनिया में, चलो सपनों की ऊँचाइयों की ओर।

चलो नई दुनिया में, चलो सपनों की ऊँचाइयों की ओर।
नए सफर की धूंध में, नए अद्भुत खेलों की ओर।

सोचो नए किरदारों में, जीवन की नई कहानी बुनो।
सपनों के रंग में, नया संगीत गुनगुनाओ।

बदलो विचारों का सागर, नई उम्मीदों की तरंग लहराओ।
समृद्धि के नए सागर में, अपनी प्रतिभा को बहाओ।

नई दुनिया की राहों पर, नए सपनों को पूरा करो।
विश्वास की बाहों में, खुद को समर्पित करो।

चलो नई दुनिया में, चलो सपनों की ऊँचाइयों की ओर।
नए सफर की धूंध में, नए अद्भुत खेलों की ओर।

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें,
नए आसमान की ओर, हम अपने पग बढ़ाएं।
नई राहें खोजें, नए सपने सजाएं,
जीवन के मिशन पर, हम निरंतर चले जाएं।

नए विचार लाएं, नए दर्शन बनाएं,
मन के संगीत को, नए ताल में सजाएं।
सृष्टि के रहस्यों को, नए रूप में समझें,
नई राहों पर, हम निरंतर प्रगामी बनें।

संवेदना के साथ, नए सपने बुनें,
समाज के दुःखों को, हम नए रास्ते धुंधें।
नया करते चलें, नई उम्मीदों का आगाज़,
चलो नई दुनिया में, हम नया इतिहास रचाएं।

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें,

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें,
नए आसमान की ओर, हम अपने पग बढ़ाएं।
नई राहें खोजें, नए सपने सजाएं,
जीवन के मिशन पर, हम निरंतर चले जाएं।

नए विचार लाएं, नए दर्शन बनाएं,
मन के संगीत को, नए ताल में सजाएं।
सृष्टि के रहस्यों को, नए रूप में समझें,
नई राहों पर, हम निरंतर प्रगामी बनें।

संवेदना के साथ, नए सपने बुनें,
समाज के दुःखों को, हम नए रास्ते धुंधें।
नया करते चलें, नई उम्मीदों का आगाज़,
चलो नई दुनिया में, हम नया इतिहास रचाएं।

चलो नई दुनिया में, करें नए सफर,खोजें नये रास्ते, पाएं नई परिभाषा।

चलो नई दुनिया में, करें नए सफर,
खोजें नये रास्ते, पाएं नई परिभाषा।

चलो नई दुनिया में, जहां सपने हैं अनगिनत,
हर कदम पर है नई चुनौतियों का सामना।

बढ़ें नए क़दम, करें बड़ा विश्वास,
जीतें नई उचाईयों को, मिटाएं हर अवस्था का अविश्वास।

नई दुनिया में, हो सच्चे सपनों की मीठी मिली,
जीवन को नई दिशा में, बढ़ाएं नयी चाहतों की धड़कनें संग लिए।

चलो नई दुनिया में, बनाएं नया इतिहास,
कुछ बड़ा करने का, हो नया संकल्प, नया साहस।

चलो नई दुनिया की ओर,नए सपनों की खोज में निकल पड़ें वीर।

चलो नई दुनिया की ओर,
नए सपनों की खोज में निकल पड़ें वीर।
साहस से भरी हर कदम रखो,
अगले उच्चांक को हासिल करो।

चुनौतियों से मत डरो,
अपने सपनों को पूरा करो।
नई दुनिया में नया उत्साह लाओ,
हर कठिनाई को खुद से परास्त करो।

बड़ा सोचो, बड़ा सपना देखो,
नयी राहों में नई दिशा प्राप्त करो।
अपने संकल्प को साकार करो,
नई दुनिया में नए अद्भुत किरदार बनो।

नई दुनिया के रास्ते पर चल

नई दुनिया के रास्ते पर चल,
नया कुछ करने की है तलाश।
बड़ा सपना लेकर आगे बढ़,
सपनों को पूरा करने की बात।

सोचो मत, बस चलो आगे,
नयी राहों में मिलेगा सहारा।
डरो मत, हाथों में लो जो बात,
नई दुनिया है, हमारी ही है वो रात।

बड़ा करने की आस हर किसी में है,
नई दुनिया को हम साथ में बनाएं।
चलो आगे बढ़े, करें वो बड़ा काम,
नई दुनिया में हमें मिलेगा वो सम्मान।

दिल्ली की धूप में

पहाड़ों के बीच, उसके घर से दूर,
एक युवक निकला, सपनों की धुंधली छाँव में।
सड़कों की गहराई में, उसने खोजा नया सफर,
अपनी मंजिल की ओर, चलते हुए निकला परवरिश की परिवार से बाहर।

शहरों की भीड़ में, वह खोजा अपना रास्ता,
अपने सपनों की पूर्ति के लिए, किया उसने महनत बेहद तेज।
जीवन की रोशनी में, उसने खोजा अपना आत्मा,
वहां ले वहां, बस खोजते रहे, अपने सपनों की दुनिया नयी।

दिल्ली की धूप में, उसने भीगे अपने सपने,
नये रंग, नयी धधकन, बसे थे हर जगह।
सिखा वहने, जीने का सही अंदाज़,
अपने क़दमों में, लिया उसने हर रास्ते का साथ।

उसकी कविता, उसकी कहानी,
प्यार से रची, नए सपनों की कहानी।
जो शुरुआत थी पहाड़ों की उस धूप में,
आज वह है दिल्ली की धूप में, खिलते हुए खुद के सपनों के संग।

चलो नई दुनिया की ओर,नए सपनों की राह पर।

चलो नई दुनिया की ओर,
नए सपनों की राह पर।
कुछ नया करने का जूनून है,
हर कदम पर नया इतिहास बुनने का है।

रुकना नहीं, नया सफ़र है आगे,
हर मुश्किल को हमें अपने दम पर हराना है।
बड़ा सपना, बड़ा काम है हमारा,
उसे हकीकत में बदलने का आग्रह है हमारा।

नई दुनिया में नया रंग चढ़ाने का,
सोचने की क्षमता को हमें विकसित करने का।
हर कठिनाई को एक नई संभावना में बदलने का,
नया करने का, नया सोचने का, नया जीने का सिखाने का।

चलो, नई दुनिया में हम सब कुछ बदलें,

नई दुनिया की ओर चलें, नए सफ़र में,
अपने सपनों को पाने का जज्बा हमें।

विचारों के जंगल में हम बड़ाई करें,
नई राहों पर हम निरंतर चलते जाएँ।

सपनों की उड़ान को हवाओं में लहराएँ,
नयी उम्मीदों को आसमानों में बिखराएँ।

चलो, नई दुनिया में हम सब कुछ बदलें,
अपने सपनों को सच करने का संकल्प बढ़ाएं।

नई रोशनी के साथ, नए अंधेरों को हराएं,
नई दुनिया की ओर हम सब मिलकर आगे बढ़े।

चलो, नई दुनिया में हम सब कुछ बदलें

नई दुनिया की ओर चलें, नए सफ़र में,
अपने सपनों को पाने का जज्बा हमें।

विचारों के जंगल में हम बड़ाई करें,
नई राहों पर हम निरंतर चलते जाएँ।

सपनों की उड़ान को हवाओं में लहराएँ,
नयी उम्मीदों को आसमानों में बिखराएँ।

चलो, नई दुनिया में हम सब कुछ बदलें,
अपने सपनों को सच करने का संकल्प बढ़ाएं।

नई रोशनी के साथ, नए अंधेरों को हराएं,
नई दुनिया की ओर हम सब मिलकर आगे बढ़े।

चल नई दुनिया की ओर, हम सफ़र को जाएं,

चल नई दुनिया की ओर, हम सफ़र को जाएं,
नए सपनों की उड़ान, नयी राहें बनाएं।
बड़ा सोचें, बड़ा सपना देखें,
हर कदम पर नए अवसरों को छूएं।

नयी दुनिया में नयी राहें ढूंढें,
परिवर्तन के मार्ग पर आगे बढ़ें।
रोशनी के दीपक जलाएं, नया सवेरा लाएं,
बड़ा सपना साकार करने के सपना सजाएं।

चलो, नई दुनिया में, नए संगीत गाएं,
कुछ बड़ा करने की हम कोशिश करें।
बाधाओं को पार कर, नए उत्साह से निकलें,
एक नई कहानी लिखें, नया इतिहास बनाएं।

नई दुनिया की ओर चलें, नए सफ़र में

नई दुनिया की ओर चलें, नए सफ़र में,
अपने सपनों को पाने का जज्बा हमें।

विचारों के जंगल में हम बड़ाई करें,
नई राहों पर हम निरंतर चलते जाएँ।

सपनों की उड़ान को हवाओं में लहराएँ,
नयी उम्मीदों को आसमानों में बिखराएँ।

चलो, नई दुनिया में हम सब कुछ बदलें,
अपने सपनों को सच करने का संकल्प बढ़ाएं।

नई रोशनी के साथ, नए अंधेरों को हराएं,
नई दुनिया की ओर हम सब मिलकर आगे बढ़े।

चल नई दुनिया की ओर, हम सफ़र को जाएं,

चल नई दुनिया की ओर, हम सफ़र को जाएं,
नए सपनों की उड़ान, नयी राहें बनाएं।
बड़ा सोचें, बड़ा सपना देखें,
हर कदम पर नए अवसरों को छूएं।

नयी दुनिया में नयी राहें ढूंढें,
परिवर्तन के मार्ग पर आगे बढ़ें।
रोशनी के दीपक जलाएं, नया सवेरा लाएं,
बड़ा सपना साकार करने के सपना सजाएं।

चलो, नई दुनिया में, नए संगीत गाएं,
कुछ बड़ा करने की हम कोशिश करें।
बाधाओं को पार कर, नए उत्साह से निकलें,
एक नई कहानी लिखें, नया इतिहास बनाएं।

दिल्ली की धूम-धाम ने बहकाया

घर के पीछे के पहाड़ से निकला,
शहरों की बाजारों में खोया।
बड़े-बड़े शहरों की धूप में,
अपने सपनों को जगाने चला।

दिल्ली की धूम-धाम ने बहकाया,
नई दुनिया में खुद को पाया।
पढ़ाई की राहों में चलते-चलते,
सपनों के संग, नयी राहें चुनी।

नाम कमाने की आग में जलता,
सपनों का सफर कभी ना थमता।
सीखता है, करता है, और बढ़ता है,
नई दुनिया के रास्तों पे चलता है।

पहाड़ के पीछे की दुनिया छोड़,
शहर की भीड़ में खुद को खोज।
अपने सपनों को अपने ही हाथों से,
नई दुनिया में फिर से बुन।

सूरज

धूप में जलता है सुख का संगीत,
चलो इस गम के साथ, चलना ही होगा।

आँखों में नमी, मन में उदासी,
सूरज यारा, अब तुम्हें समझना ही होगा।

जीवन की यात्रा में गमों का सफर,
सहना ही होगा, संघर्ष को गला ही होगा।

अंधकार के रास्ते जो चलते हैं,
उन्हें सूरज का साथ, पाना ही होगा।

गम का हारा, मुझे तो जाना ही होगा,
सूरज यारा, तुम्हारा साथ पाना ही होगा।

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें,

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें,
कुछ नया करने का, हर दिन इंतजार करें।
रुकना नहीं है, न कभी थमना है,
नए सपनों को, हर पल पार करें।

उड़ान भरें आसमान की ऊँचाईयों को,
सपनों के रंग में, हर दिन रंगें जिओ।
करें नया कुछ, बनाएं नए इतिहास,
जीवन को सार्थकता से भरें, नया जीने का संघर्ष करें।

नई दुनिया के सफर में, नई राहें चुनें,
अपने सपनों की पहचान में, अपने लक्ष्य को पाएं।
बड़ा सपना देखें, बड़ा ही करें,
नए दिन का स्वागत करें, नया जीवन अपनाएं।

चलो नई दुनिया में, करें नए सफर,खोजें नये रास्ते, पाएं नई परिभाषा।

चलो नई दुनिया में, करें नए सफर,
खोजें नये रास्ते, पाएं नई परिभाषा।

चलो नई दुनिया में, जहां सपने हैं अनगिनत,
हर कदम पर है नई चुनौतियों का सामना।

बढ़ें नए क़दम, करें बड़ा विश्वास,
जीतें नई उचाईयों को, मिटाएं हर अवस्था का अविश्वास।

नई दुनिया में, हो सच्चे सपनों की मीठी मिली,
जीवन को नई दिशा में, बढ़ाएं नयी चाहतों की धड़कनें संग लिए।

चलो नई दुनिया में, बनाएं नया इतिहास,
कुछ बड़ा करने का, हो नया संकल्प, नया साहस।

गहरी रातों में हो जो अकेलापन,

सूरज की किरणों में ढल कर,
गम की राहों में चल कर।
मन की आंधी से लड़कर,
नई राहें खोजना ही होगा।

छोड़ दो अपनी हर चिंगारी,
नए सपनों की धुंध में जाना ही होगा।
जीवन की राहों में खो जाना,
फिर से अपने आप को पाना ही होगा।

गहरी रातों में हो जो अकेलापन,
खुद को खोजना ही होगा।
धूप के तेवरों से जूझते हुए,
नए सवेरे की तलाश में जाना ही होगा।

गम का हारा यारा, इस यात्रा में साथ नहीं,
मगर खुद को ढूँढना ही होगा।
जीवन की कठिनाईयों से लड़कर,
नई उड़ानों को पाना ही होगा।

यह हवा क्यों चल रही है

"यह हवा क्यों चल रही है,
क्या उसमें कोई राज है।
धीरे-धीरे बता दे तू,
क्या मैं हूँ तेरा अब भी साथ हूँ।।

चलती है हवा, बस कहीं तक,
खो गया हूँ खुद से, अब रास्ते में।
क्या वो तेरा ही साया है,
या मेरी धड़कन की सदा है।।

रोशनी है, और हैं अंधेरे,
क्या तू मेरी जिंदगी का सहारा है।
या फिर सपनों का एक ख्वाब है,
जो टूट जाएगा, जैसे ही सुबह है।।

यह हवा क्यों चल रही है,
क्या उसमें कोई राज है।
धीरे-धीरे बता दे तू,
क्या मैं हूँ तेरा अब भी साथ हूँ।।"

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें,

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें,
कुछ नया करने का, हर दिन इंतजार करें।
रुकना नहीं है, न कभी थमना है,
नए सपनों को, हर पल पार करें।

उड़ान भरें आसमान की ऊँचाईयों को,
सपनों के रंग में, हर दिन रंगें जिओ।
करें नया कुछ, बनाएं नए इतिहास,
जीवन को सार्थकता से भरें, नया जीने का संघर्ष करें।

नई दुनिया के सफर में, नई राहें चुनें,
अपने सपनों की पहचान में, अपने लक्ष्य को पाएं।
बड़ा सपना देखें, बड़ा ही करें,
नए दिन का स्वागत करें, नया जीवन अपनाएं।

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें,

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें,
कुछ नया करने का, हर दिन इंतजार करें।
रुकना नहीं है, न कभी थमना है,
नए सपनों को, हर पल पार करें।

उड़ान भरें आसमान की ऊँचाईयों को,
सपनों के रंग में, हर दिन रंगें जिओ।
करें नया कुछ, बनाएं नए इतिहास,
जीवन को सार्थकता से भरें, नया जीने का संघर्ष करें।

नई दुनिया के सफर में, नई राहें चुनें,
अपने सपनों की पहचान में, अपने लक्ष्य को पाएं।
बड़ा सपना देखें, बड़ा ही करें,
नए दिन का स्वागत करें, नया जीवन अपनाएं।

नई दुनिया के सफर में, नई राहें चुनें

चलो नई दुनिया में, नया सफर तय करें,
कुछ नया करने का, हर दिन इंतजार करें।
रुकना नहीं है, न कभी थमना है,
नए सपनों को, हर पल पार करें।

उड़ान भरें आसमान की ऊँचाईयों को,
सपनों के रंग में, हर दिन रंगें जिओ।
करें नया कुछ, बनाएं नए इतिहास,
जीवन को सार्थकता से भरें, नया जीने का संघर्ष करें।

नई दुनिया के सफर में, नई राहें चुनें,
अपने सपनों की पहचान में, अपने लक्ष्य को पाएं।
बड़ा सपना देखें, बड़ा ही करें,
नए दिन का स्वागत करें, नया जीवन अपनाएं।
धूप की किरणों में खो जाती हूँ,
बारिश की बूंदों में बिखर जाती हूँ।
सूरज की चाह में, मैं जल जाती हूँ,
पर गम की धुंध में, फिर भी मिलती हूँ।

यारा सूरज की चाह का हारा,
गम की धुंध में, खो गया बस हारा।
पर मिलती हूँ मैं हर रोज नया सफर,
गम की धुंध में भी, खोजती हूँ खुद को बार-बार।

सूरज की चाह की हारी

धूप की किरणों में खो जाती हूँ,
बारिश की बूंदों में बिखर जाती हूँ।
सूरज की चाह में, मैं जल जाती हूँ,
पर गम की धुंध में, फिर भी मिलती हूँ।

यारा सूरज की चाह का हारा,
गम की धुंध में, खो गया बस हारा।
पर मिलती हूँ मैं हर रोज नया सफर,
गम की धुंध में भी, खोजती हूँ खुद को बार-बार।

धूप की किरणों में खो जाती हूँ,
बारिश की बूंदों में बिखर जाती हूँ।
सूरज की चाह में, मैं जल जाती हूँ,
पर गम की धुंध में, फिर भी मिलती हूँ।

यारा सूरज की चाह का हारा,
गम की धुंध में, खो गया बस हारा।
पर मिलती हूँ मैं हर रोज नया सफर,
गम की धुंध में भी, खोजती हूँ खुद को बार-बार।

धूप की किरणों में खो जाती हूँ,
बारिश की बूंदों में बिखर जाती हूँ।
सूरज की चाह में, मैं जल जाती हूँ,
पर गम की धुंध में, फिर भी मिलती हूँ।

यारा सूरज की चाह का हारा,
गम की धुंध में, खो गया बस हारा।
पर मिलती हूँ मैं हर रोज नया सफर,
गम की धुंध में भी, खोजती हूँ खुद को बार-बार।

सूरज की किरणों में छिपी,खुशियों की बातें जिन्हें सुनाना है।

सूरज की किरणों में छिपी,
खुशियों की बातें जिन्हें सुनाना है।
गम की गहराइयों में खोए,
उन्हें ढूंढ़ना ही हमें जाना है।

रात की चादर से ढकी,
मुस्कान की कहानी सुनानी है।
गहरी तारों में खोए,
उन्हें खोजना ही हमें जाना है।

दुःख के सागर में डूबे,
आशा की नौका तैरानी है।
संघर्षों से लड़कर,
जीना ही हमें जाना है।

सूरज यारा, धुप का साथी,

सूरज यारा, धुप का साथी,  
जीवन की राहों में तेरा साथ चाहिए।  
तू है संग, हर रंग में तेरा साथ चाहिए।  

जब धुंधला हो अंधकार,  
तू है संग, संग चलें हम सारे।  
चाहे जो भी हो मुश्किलें,  
तेरा साथ है, रहेंगे हम साथ हमेशा।  

तू है सूरज, मेरी जिंदगी की किरण,  
जो भी आए वक्त, हमेशा रहेगा तेरा सम्बंध।  
सूरज यारा, गम का हारा,  
तेरे बिना जीना है मुश्किल, ये सच हमें पता है।

सूरज की किरणों के साथ,अपने सपनों को जगाना होगा।

धूप में जलते सूरज के साथ,
खो जाता है गम का हारा सफर।
आँखों में आंसू छुपाना होगा,
मन में सुकून का अपना इन्तजार।

जीवन की लहरों में बहते,
दर्द के साथ राह चलना होगा।
हर रोज़ की चुनौतियों से,
अपने आप को सामना ही होगा।

सूरज की किरणों के साथ,
अपने सपनों को जगाना होगा।
गम के बाद सुख का सागर,
नई उम्मीदों की ओर बढ़ना होगा।

सूरज ने ढक लिया अपना चेहरा,चाँदनी भी ने किया गहरा सवेरा।

सूरज ने ढक लिया अपना चेहरा,
चाँदनी भी ने किया गहरा सवेरा।

धूप में जलती है मन की प्यास,
बरसात में बहती है आँसू की नदी।

यादें जलती हैं सूरज की तपिश में,
कभी दर्द की चादर में, कभी तन्हाई की रात में।

सूरज यारा, तू गम का हारा,
मुझे तो जाना ही होगा, इस राह पर अकेला तेरा।

इस राह पर अकेला

सूरज ने ढक लिया अपना चेहरा,
चाँदनी भी ने किया गहरा सवेरा।

धूप में जलती है मन की प्यास,
बरसात में बहती है आँसू की नदी।

यादें जलती हैं सूरज की तपिश में,
कभी दर्द की चादर में, कभी तन्हाई की रात में।

सूरज यारा, तू गम का हारा,
मुझे तो जाना ही होगा, इस राह पर अकेला तेरा।

धुप में जलता है सूरज, साया नहीं पाता,

धुप में जलता है सूरज, साया नहीं पाता,
जीवन के संग्रह में, दर्द का अध्याय होता।

सफ़र का हर क़दम, जिंदगी की राह ले जाता है,
गम की गहराइयों में, अज्ञाता का सवाल बन जाता है।

संघर्ष की धूप में, हौसला बुलंद होता है,
सन्नाटे की रात में, आशा का दीप जलता है।

सूरज की किरणें, रोशनी का संदेश लेकर आती हैं,
गहरे अंधकार में, उम्मीद का सागर छाता है।

गम का हारा सूरज, जीवन का संग्रह होता है,
जिंदगी की कविता में, हर रंग का अर्थ छुपा होता है।

जीवन के संग्रह में, दर्द का अध्याय होता।

धुप में जलता है सूरज, साया नहीं पाता,
जीवन के संग्रह में, दर्द का अध्याय होता।

सफ़र का हर क़दम, जिंदगी की राह ले जाता है,
गम की गहराइयों में, अज्ञाता का सवाल बन जाता है।

संघर्ष की धूप में, हौसला बुलंद होता है,
सन्नाटे की रात में, आशा का दीप जलता है।

सूरज की किरणें, रोशनी का संदेश लेकर आती हैं,
गहरे अंधकार में, उम्मीद का सागर छाता है।

गम का हारा सूरज, जीवन का संग्रह होता है,
जिंदगी की कविता में, हर रंग का अर्थ छुपा होता है।

अंधियारों में भी जलता रहे ये दीप।

सूरज की किरणों में छिपी,
गम की धुप में ढला है सफ़र।
मन की गहराईयों में छुपी,
उम्मीद की किरणें जगा हैं इस सफ़र में।

हर कदम पर है राह का साथी,
अंधियारों में भी जलता रहे ये दीप।
गम के साए में भी मिलता है सुख,
संग है जिंदगी का हर अधीप।

गुज़र जाएगा ये गम का बादल,
हार नहीं, विजय की लहर होगा।
सूरज के पर्वतों को चूमेगा,
गम का हारा तो जाना ही होगा।

वेदों में शिव

भगवान शिव, भारतीय संस्कृति में एक प्रमुख देवता हैं और उनकी महत्ता और महिमा अत्यधिक है। वे त्रिमूर्ति के एक प्रमुख स्वरूप हैं, जो सृष्टि, स्थिति और संहार का प्रतीक हैं। भगवान शिव को महादेव, नीलकंठ, भैरव, त्रिशूलधारी, नटराज, रुद्र, आदि नामों से भी जाना जाता है। 

ऋग्वेद में, भगवान शिव को रुद्र के रूप में उपलब्ध किया गया है, जो एक शक्तिशाली और दयालु देवता के रूप में प्रस्तुत किया गया है। ऋग्वेद में ऋद्र को शिकार और पशुओं के संरक्षक के रूप में वर्णित किया गया है। उन्हें धनुष, तीर, और बवंडर के साथ जोड़ा गया है, जो उनकी शक्ति और दुष्टता को नष्ट करने की क्षमता को प्रतिनिधित करता है। 
भगवान शिव के बारे में एक विशेष श्लोक जो ऋग्वेद में प्रदर्शित होता है, वह है:

"कैलासशिखरे रम्ये शंकरस्य शुभे गृहे ।
देवतास्तत्र मोदन्ति तन्मे मनः शिवसंकल्पमस्तु ॥"

अर्थात, "कैलास पर्वत के चारों ओर श्री शंकर के अत्यंत मनोहार घर हैं, वहाँ सभी देवताओं का आनंद होता है। मेरे मन में हमेशा भगवान शिव के संकल्प हों।"

यह श्लोक भगवान शिव के गौरव और महत्त्व को बखूबी व्यक्त करता है और उनकी महिमा की महत्ता को दर्शाता है। इसके साथ ही, यह श्लोक हमें भगवान शिव के ध्यान में लगाने और उनकी कृपा को प्राप्त करने की प्रेरणा देता है।

यजुर्वेद में, भगवान शिव को अज्ञान और अधर्म को नष्ट करने की क्षमता वाला देवता के रूप में वर्णित किया गया है। उन्हें उपजाऊता और लम्बी आयु और समृद्धि प्रदान करने वाले देवता के रूप में भी वर्णित किया गया है। 

अथर्ववेद में, शिव को औषधि और चिकित्सा के देवता के रूप में वर्णित किया गया है, जो शारीरिक और मानसिक रोगों का इलाज कर सकता है। इस वेद में उनकी पूजा का महत्व और उनके पूजन से जुड़े विभिन्न अनुष्ठानों का भी वर्णन है। 

भगवान शिव को एक ही अत्मा में सभी जीवों में एकता का प्रतीक माना जाता है, और उनकी पूजा से हम अपने अंतरात्मा को पहचान सकते हैं। उनके भक्तों के लिए, भगवान शिव के भगवान बनाने का महत्व अत्यंत उच्च होता है और वे उनकी पूजा के द्वारा अपने जीवन में शांति, सुख, और समृद्धि का आशीर्वाद प्राप्त क

सूरज के पर्वतों को चूमेगा,गम का हारा तो जाना ही होगा

सूरज की किरणों में छिपी,
गम की धुप में ढला है सफ़र।
मन की गहराईयों में छुपी,
उम्मीद की किरणें जगा हैं इस सफ़र में।

हर कदम पर है राह का साथी,
अंधियारों में भी जलता रहे ये दीप।
गम के साए में भी मिलता है सुख,
संग है जिंदगी का हर अधीप।

गुज़र जाएगा ये गम का बादल,
हार नहीं, विजय की लहर होगा।
सूरज के पर्वतों को चूमेगा,
गम का हारा तो जाना ही होगा।

छोड़ दो अपनी हर चिंगारी,

सूरज की किरणों में ढल कर,
गम की राहों में चल कर।
मन की आंधी से लड़कर,
नई राहें खोजना ही होगा।

छोड़ दो अपनी हर चिंगारी,
नए सपनों की धुंध में जाना ही होगा।
जीवन की राहों में खो जाना,
फिर से अपने आप को पाना ही होगा।

गहरी रातों में हो जो अकेलापन,
खुद को खोजना ही होगा।
धूप के तेवरों से जूझते हुए,
नए सवेरे की तलाश में जाना ही होगा।

गम का हारा यारा, इस यात्रा में साथ नहीं,
मगर खुद को ढूँढना ही होगा।
जीवन की कठिनाईयों से लड़कर,
नई उड़ानों को पाना ही होगा।

सूरज की किरणों में छुपी,गहरी रातों की धुप में,

सूरज की किरणों में छुपी,
गहरी रातों की धुप में,
खोया हूँ खुद को खोकर,
समझाना ही होगा मुझे गम का हारा रहकर।

सफर में मिलते हैं अनजान राही,
कभी धूप में, कभी छाँव में खोजते हैं जवाबी,
पर जिस राह में मिले साथी हमारे,
उसी राह में जाना ही होगा, गम का हारा हमें परिपूर्ण बनाकर।

चलते हैं आगे, छोड़ते हैं पीछे,
बिखरे हैं सपने, पिघले हैं आशे,
पर जिस सपने के साथ चलें,
उसे पूरा करना ही होगा, गम का हारा साथ बनाकर।

सूरज की किरणों में छुपी,
गहरी रातों की धुप में,
खोया हूँ खुद को खोकर,
समझाना ही होगा मुझे गम का हारा रहकर।

गहरी रातों की धुप में,

सूरज की किरणों में छुपी,
गहरी रातों की धुप में,
खोया हूँ खुद को खोकर,
समझाना ही होगा मुझे गम का हारा रहकर।

सफर में मिलते हैं अनजान राही,
कभी धूप में, कभी छाँव में खोजते हैं जवाबी,
पर जिस राह में मिले साथी हमारे,
उसी राह में जाना ही होगा, गम का हारा हमें परिपूर्ण बनाकर।

चलते हैं आगे, छोड़ते हैं पीछे,
बिखरे हैं सपने, पिघले हैं आशे,
पर जिस सपने के साथ चलें,
उसे पूरा करना ही होगा, गम का हारा साथ बनाकर।

सूरज की किरणों में छुपी,
गहरी रातों की धुप में,
खोया हूँ खुद को खोकर,
समझाना ही होगा मुझे गम का हारा रहकर।

दोस्ती की यारी, जीने की चाह

पहाड़ों की चोटियों पर दोस्ती की मिठास,
पागलपन की लहरों में बसी हर बात।
नदियों की गहराइयों में नहाने का आनंद,
बाइक पर घूमने की उत्साहित राह।

शराब के नशे में मत खो जाना,
दोस्ती के साथ हर पल जीना।
प्रियतम के साथ सफर है ख़ास,
जिंदगी का हर रंग है मनमोहक संगीत का इक तास।

खोजो नई राहें, पाएं नए सपने,
जीवन की खोज में हर पल मज़ा है।
साथ चलें दोस्त, प्यार के संग,
हर दर्द, हर ग़म, साथ हो संगीत का रंग।

पहाड़ों के शिखरों से नज़रें भरें,
नदियों की लहरों में तैरें।
बाइक की सवारी, दिल का सफर,
दोस्ती की यारी, जीने की चाह।

पर फिर एक दिन, सूरज ने मुस्कान भेजी,

सूरज की किरणों में छिपी,
खुशियों की बातें सुनाते सपने।
पर जब आँधियाँ आईं, छाया छा गया,
दिल को लगा ग़म का सागर लहराए।

चलना पड़ा मुझे उस जंजीर में,
जिसमें हर क़दम पर था दर्द छुपा।
मजबूती से जूझते हुए,
खुद को ढूँढ़ता रहा एक रास्ता।

पर फिर एक दिन, सूरज ने मुस्कान भेजी,
अब ग़म की रातें भी हो गईं अनजान।
जीवन की चाहत ने सिखाया,
कि अंधकार से ही नहीं, 
रोशनी से भी सफ़र होता है।

अपनी क्षमता को व्यर्थ न जाने दो

क्यों रुकूं मैं, जब राहें बुला रही हैं, क्यों थमूं मैं, जब हवाएं गा रही हैं। यह डर, यह संशय, यह झूठा बहाना, इनसे नहीं बनता किसी का जमाना। आध...